सहअस्तित्व:– अध्ययन बिंदु शिविर – अप्रैल 2022 भिवानी(हरियाणा)
🦚 स्वशुभ से सर्वशुभ कार्यशाला 🦚
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वास्तविकताओं का विश्लेषण मध्यस्थ दर्शन :- जानना का प्रमाण मानना👉 मानना का प्रमाण पहचानना 👉 पहचानना का प्रमाण निर्वाह करना और 👉 निर्वाह करने के प्रमाण में फिर से जानना ।
🌷प्रमाण ही विश्वास है और विश्वास ही सुख का आधार है🌷
दिनाँक :- 23 अप्रैल 1:00 PM से 1मई दोपहर – 2022
🌷प्रबोधक: भाई योगेश शास्त्री जी
स्थान : M.D केंद्र नीमड़ी वाली भिवानी हरियाणा
लोकेशन : https://maps.app.goo.gl/2hNRAg2aW4vGdTw17
नोट :
- यह 9 दिन का आवासीय शिविर है।
🌷शिविर प्रबोधन निशुल्क है, लेकिन भोजन सहित अनुमानित खर्च 2000₹ प्रति व्यक्ति रहेगा।
✅अपने सामर्थ्य अनुरूप सहयोग राशि का सहयोग करना सही रहेगा। 🌷 शिविर में भाग लेने के लिए सहयोग राशि कोई बाधा नहीं है। 🌷 जो लोग इस शिविर में शामिल होना चाहते हैं, वे पंजीकरण के लिए निम्नलिखित फॉर्म निम्न लिंक से भरें … फॉर्म का लिंक: https://docs.google.com/forms/d/e/1FAIpQLSdpGdo0ZLQ3HH90-kXQx_y1vAxmEbo_KRCnG3vZy3P-pBhMDQ/viewform?usp=sf_link
🌷फॉर्म भरें व कृपया नीचे दिए गए संपर्क नंबर पर कॉल करें:–
संपर्क:– गौरव जी :– 9760764765
श्यामवीर जी:–9718890190
🌷स्वाध्यायी बिंदु🌷
🪐मन “निरन्तर सुख” को आस्वादन करने के लिए निरन्तर प्रयासरत समझ आता है।
🪐वृत्ति “निरन्तर सुख” को पहचानने के लिए निरन्तर प्रयासरत समझ आती है।
🪐चित्त “सुख” का ही स्मरण बनाये रहने के लिए निरन्तर प्रयासरत समझ आता है।
🪐बुद्धि “निरन्तर सुख” को समझने के लिए निरन्तर प्रयासरत दिखती है।
🌞आत्मा “निरन्तर सुख “को अनुभव करने या निरन्तर सुखरूपी आधार को अनुभव करने के लिए प्रयासरत समझ आती है।
✅समझदारी में,से,के लिये जीना नितांत आवश्यकता बनी हुई है। समझदारी में जीने के लिए पूरा समझना आवश्यक है,पूरा समझने की वस्तु सहअस्तित्व है। समझे बिना मानव/मैं सुखी हो नही सकता।
🌷https://jvconnect.info/
M.Dकेंद्र भिवानी पर अध्ययन सम्बंधी अग्रिम सूचनाओं के लिये सम्पर्क कर सकते हैं:– सुख जी 7015503928
🌷 पंजीकरण के पश्चात निम्न व्हाट्सएप समूह से अपने को जोड़ लें:–https://chat.whatsapp.com/JZuTfq6VphRAucv5UZTeYm
🌹स्वयं में व्यवस्था से समग्र व्यवस्था में भागीदारी की यात्रा है :::—मध्यस्थ दर्शन🤝